“21 सितम्बर 2025 सूर्य ग्रहण की ज्योतिषीय महत्ता और राशियों पर प्रभाव”
🌑“21 सितम्बर 2025 सूर्य ग्रहण और अमावस्या”🌑
21 सितंबर 2025 को लगने वाले सूर्य ग्रहण (Partial Solar Eclipse) के बारे में हिंदी में कुछ महत्वपूर्ण बातें नीचे दी जा रही हैं:
वैज्ञानिक तथ्य
1. प्रकार: आंशिक (Partial) सूर्य ग्रहण होगा — यानी चंद्रमा सूर्य को पूरी तरह नहीं ढंकेगा, सिर्फ एक हिस्सा।
2. दिनांक: 21 सितंबर 2025
3. स्थल दृश्यता: दक्षिणी गोलार्ध (Southern Hemisphere) के कुछ हिस्सों में दिखाई देगा। मुख्यतः ऑस्ट्रेलिया, न्यूज़ीलैंड, दक्षिणी प्रशांत द्वीप, और अंटार्कटिका से देखा जा सकेगा। भारत से यह दिखाई नहीं देगा।
4. समय (IST के अनुसार):
ग्रहण की शुरुआत लगभग 21 सितंबर की रात 10:59 बजे
प्रमुख अंश (maximum) लगभग 22 सितंबर को 01:11 बजे रात
ग्रहण समाप्ति लगभग 03:23 बजे (रात/सुबह की ओर)
5. दृश्यमानता: सूर्य का लगभग ८०-९०% तक हिस्सा देखा जा सकेगा उन स्थानों पर जहाँ ग्रहण दिखेगा।
भारतीय संदर्भ
भारत में ग्रहण नहीं दिखेगा, क्योंकि यह समय भारत में रात का समय होगा।
चूंकि यह भारत से दृश्यमान नहीं है, इसलिए “सूतक काल” आदि की परंपरागत प्रथाएँ लागू नहीं होंगी।
🔭 वैज्ञानिक दृष्टि से
यह आंशिक सूर्य ग्रहण होगा (Partial Solar Eclipse)।
भारत से दिखाई नहीं देगा, इसलिए यहाँ सूतक काल मान्य नहीं होगा।
यह मुख्यतः ऑस्ट्रेलिया, न्यूज़ीलैंड, दक्षिणी प्रशांत महासागर और अंटार्कटिका से दिखाई देगा।
🌑 ज्योतिषीय दृष्टि से महत्त्व
1. ग्रहण और सूर्य:
सूर्य को आत्मा, पिता, आत्मविश्वास और जीवन ऊर्जा का कारक माना जाता है। सूर्य पर ग्रहण लगने से इन क्षेत्रों में अस्थिरता या कमजोरी महसूस की जा सकती है।
2. राशियों पर प्रभाव:
यह सूर्य ग्रहण कन्या राशि (Virgo sign) पर घटित हो रहा है। इसलिए इसका विशेष प्रभाव कन्या राशि और उससे संबंधित भावों पर होगा।
कन्या राशि वालों को स्वास्थ्य, मानसिक असंतुलन और निर्णयों में उलझन की संभावना हो सकती है।
मिथुन, धनु और मीन राशि पर भी इसका प्रभाव अधिक रहेगा।
3. ग्रहों का सामंजस्य:
ग्रहण के समय सूर्य और चंद्रमा का विशेष संयोग होता है। यह स्थिति चंद्रमा की भावनात्मक ऊर्जा और सूर्य की जीवनशक्ति में अस्थिरता पैदा करती है।
🌌 राशिवार संभावित प्रभाव
मेष (Aries): करियर और नेतृत्व के क्षेत्र में उतार-चढ़ाव। वरिष्ठों से टकराव से बचें।
वृषभ (Taurus): आर्थिक निवेश और पारिवारिक संबंधों में सतर्कता रखें।
मिथुन (Gemini): मानसिक तनाव, रिश्तों में गलतफहमियाँ। धैर्य रखें।
कर्क (Cancer): स्वास्थ्य पर ध्यान दें, विशेषकर पेट और आंखों से संबंधित समस्या।
सिंह (Leo): आत्मविश्वास में कमी और महत्वपूर्ण फैसले लेने में बाधाएँ।
कन्या (Virgo): जीवन के हर क्षेत्र में अस्थिरता — स्वास्थ्य, संबंध और करियर।
तुला (Libra): गुप्त शत्रुओं से सावधान रहें। खर्च अधिक हो सकता है।
वृश्चिक (Scorpio): मित्रों और सामाजिक संबंधों में उतार-चढ़ाव।
धनु (Sagittarius): नौकरी और करियर में दबाव, पिताजी के स्वास्थ्य पर ध्यान दें।
मकर (Capricorn): यात्राओं में बाधा और मानसिक अस्थिरता।
कुंभ (Aquarius): धन हानि और स्वास्थ्य संबंधी परेशानी की संभावना।
मीन (Pisces): दांपत्य जीवन और साझेदारी में तनाव।
🌿 ग्रहण के समय करने योग्य उपाय
1. मंत्र जाप:
सूर्य मंत्र – “ॐ घृणि सूर्याय नमः” का जाप करें।
गायत्री मंत्र का जाप भी अत्यंत फलदायी होगा।
2. दान-पुण्य:
ग्रहण के समय अन्न, वस्त्र, और गौ दान का विशेष महत्व है।
3. ध्यान और साधना:
ग्रहण का समय साधना, जप, और आत्मचिंतन के लिए श्रेष्ठ माना जाता है।
4. भोजन नियम:
ग्रहण से 9 घंटे पूर्व से भोजन का त्याग करना उत्तम है (लेकिन भारत में यह ग्रहण दिखाई नहीं देगा, इसलिए सूतक काल लागू नहीं होगा)।
👉 यह सूर्य ग्रहण व्यक्तिगत ऊर्जा, स्वास्थ्य और निर्णय क्षमता को प्रभावित कर सकता है। जिनकी जन्मकुंडली में सूर्य या कन्या राशि प्रमुख है, उन्हें विशेष सावधानी बरतनी चाहिए।